पहलगाम का जिक्र ना होने से भड़के राजनाथ सिंह; SCO समिट में नहीं किया दस्तावेज पर साइन
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने जिन दस्तावेजों पर दस्तखत करने से इनकार किया है, उनमें पहलगाम का जिक्र नहीं था। जबकि, बलूचिस्तान को शामिल किया गया था। फिलहाल, इसे लेकर आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा गया है।

SCO यानी शंघाई सहयोग संगठन के एक सम्मेलन में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पाकिस्तान को जमकर घेरा। चीन के किंगदाओ में आयोजित बैठक में उन्होंने कहा कि आतंकवाद के वित्तपोषकों को जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए। खबर है कि इस दौरान उन्होंने एक दस्तावेज पर भी दस्तखत करने के से इनकार कर दिया है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सिंह ने जिन दस्तावेजों पर दस्तखत करने से इनकार किया है, उनमें पहलगाम का जिक्र नहीं था। जबकि, बलूचिस्तान को शामिल किया गया था। फिलहाल, इसे लेकर आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा गया है। 22 अप्रैल को आतंकवादियों ने जम्मू और कश्मीर के पहलगाम में 26 सैलानियों की गोलीबारी कर हत्या कर दी थी।
पाकिस्तान को घेरा
सम्मेलन में अपने संबोधन में सिंह ने कहा कि कुछ देश आतंकवादियों को पनाह देने के लिए सीमा पार आतंकवाद का इस्तेमाल 'नीतिगत साधन' के रूप में कर रहे हैं। उन्होंने कहा, 'हमारे क्षेत्र में सबसे बड़ी चुनौतियां शांति, सुरक्षा और विश्वास की कमी से संबंधित हैं।' सिंह ने कहा, 'और इन समस्याओं का मूल कारण बढ़ती कट्टरता, उग्रवाद और आतंकवाद है।' सिंह ने कहा कि शांति-समृद्धि और आतंकवाद साथ नहीं चल सकते।
उन्होंने कहा कि आतंकवाद से निपटने में दोहरे मानदंडों के लिए कोई स्थान नहीं होना चाहिए। सिंह ने कहा कि एससीओ को इस खतरे से निपटने में दोहरे मानदंड अपनाने वाले देशों की आलोचना करने में संकोच नहीं करना चाहिए। सिंह ने यह भी कहा कि पहलगाम आतंकी हमले का तरीका भारत में लश्कर-ए-तैयबा के पिछले आतंकी हमलों जैसा था। उन्होंने कहा कि भारत आतंकवाद को कतई बर्दाश्त नहीं करने की नीति अपना रहा है।
माना जा रहा है कि SCO के साझा बयान पर सिंह का हस्ताक्षर नहीं करना आतंक के खिलाफ भारत की कड़ी नीति को दर्शाता है। पहलगाम आतंकवादी हमले के बाद भारत ने 8 प्रतिनिधिमंडलों को अमेरिका समेत कई देशों के दौरे पर भेजा था, ताकि आतंकवाद के खिलाफ संदेश दिया जा सके।