वन्य जीव हमारे शत्रु नहीं मित्र हैं, उन्हें मारे नहीं
Sitapur News - खैराबाद में आयोजित पांच दिवसीय कार्यशाला में 31 शिक्षकों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया। अंतिम दिन, प्रतिभागियों ने वैज्ञानिक दृष्टिकोण को बढ़ावा देने वाले विषयों पर कठपुतली नाटिकाएं प्रस्तुत कीं। मुख्य...

खैराबाद, संवाददाता। जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) में आयोजित पांच दिवसीय कार्यशाला में 31 शिक्षकों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया। कार्यशाला के अंतिम दिन प्रतिभागियों ने वैज्ञानिक दृष्टिकोण को बढ़ावा देने वाले विषयों पर पुतुल नाटिकाओं का मंचन किया। इनमें सबसे प्रमुख विषय मानव और वन्य जीवों के बीच संघर्ष था। उसमें दिखाया गया कि वन्य जीव हमारे शत्रु नहीं बल्कि मित्र हैं। यदि कोई वन्य जीव हमारे क्षेत्र में घुस आता है तो उसे मारें नहीं बल्कि वन विभाग को इसकी सूचना दें। स्वास्थ्य, पर्यावरण, स्वच्छता और कृषि जैसे विषयों पर भी प्रस्तुतियां दी गई। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता प्रोफेसर योगेश दीक्षित ने कहा कि शिक्षक कठपुतली माध्यम से इन विषयों को आम लोगों को बड़ी आसानी से समझा सकते हैं।
उन्होंने कहा कि इस तरह की कार्यशालाएं निरंतर होती रहनी चाहिए। जिससे जटिल वैज्ञानिक विषय आम लोगों तक उनकी भाषा-शैली में पहुंच सकें। डा. तारिक बदर ने कहा कि शिक्षकों ने पूरी लगन के साथ कार्यशाला में प्रतिभाग किया। डा. वीपी सिंह ने कहा कि यदि बच्चों में आरंभ से ही वैज्ञानिक दृष्टिकोण का विकास किया जाए तो वह आगे चल कर देश और समाज को बहुत बड़ा योगदान दे सकते हैं। कार्यक्रम में तीन श्रेष्ठ कठपुतली नाटकों के प्रस्तुतकर्ताओं बालगोविंद द्विवेदी, संगीता यादव और श्रद्धा श्रीवास्तव को पुरस्कृत भी किया गया। डायट की प्रवक्ता स्नेहलता वर्मा ने कहा कि यहां से जो शिक्षकों ने सीखा है, वह उसे अपने विद्यालय में ले जाएं और बच्चों को सिखाएं। डायट के प्रशासनिक अधिकारी रामचंदर को उनकी सराहनीय सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया। डॉ. अनूप चतुर्वेदी ने सभी का आभार व्यक्त किया।
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