सपा ने भाजपा के पाले में गए 3 विधायकों को पार्टी से निकाला, कहा-जहां रहें, विश्वसनीय रहें
सपा ने विधायक मनोज पांडेय, अभय सिंह और राकेश प्रताप सिंह को पार्टी से निकाल दिया है। सपा ने कहा है कि पार्टी विरोधी गतिविधियों और अनुशासनहीनता के आरोपों में इन्हें निकाला जा रहा है। इसके साथ ही पोस्ट के अंत में तंज कसते हुए लिखा गया है- जहां रहें, विश्वसनीय रहें।

समाजवादी पार्टी ने लंबे अरसे से भाजपा के पाले में नजर आ रहे अपने तीन विधायकों को औपचारिक तौर पर पार्टी से निकाल दिया है। इन विधायकों के नाम हैं मनोज पांडेय, अभय सिंह और राकेश प्रताप सिंह। पार्टी के अधिकारिक एक्स अकाउंट पर इसकी जानकारी दी गई है। सपा ने कहा है कि पार्टी विरोधी गतिविधियों और अनुशासनहीनता के आरोपों में इन्हें निकाला जा रहा है। इसके साथ ही पोस्ट के अंत में तंज कसते हुए लिखा गया है- जहां रहें, विश्वसनीय रहें।
बता दें कि पिछले साल राज्यसभा चुनाव के दौरान सपा के इन विधायकों ने भाजपा का साथ दिया था। 2024 के फरवरी महीने में राज्यसभा की 10 सीटों के लिए हुए चुनाव में भाजपा ने 8 और सपा ने 3 उम्मीदवार उतारे थे। सपा विधायकों की क्रॉस वोटिंग के चलते भाजपा के आठवें उम्मीदवार संजय सेठ को जीत मिली थी। जबकि सपा के दो ही उम्मीदवार जया बच्चन और रामजीलाल सुमन जीत सके थे। तीसरे उम्मीदवार आलोक रंजन हार गए थे। कॉस वोटिंग करने वालों में गौरीगंज सीट से विधायक राकेश प्रताप सिंह, गोसाईगंज सीट से विधायक अभय सिंह और ऊंचाहार सीट से विधायक मनोज कुमार पांडेय शामिल थे।
समाजवादी पार्टी के एक्स अकाउंट पर विधायकों के निष्कासन की सूचना देते हुए लिखा गया है- ‘समाजवादी सौहार्दपूर्ण सकारात्मक विचारधारा की राजनीति के विपरीत साम्प्रदायिक विभाजनकारी नकारात्मकता व किसान, महिला, युवा, कारोबारी, नौकरीपेशा और ‘पीडीए विरोधी’ विचारधारा का साथ देने के कारण, समाजवादी पार्टी जनहित में निम्नांकित विधायकों को पार्टी से निष्कासित करती है।’
तीनों विधायकों के नामों और सीट का उल्लेख करते हुए पोस्ट में आगे लिखा है-‘इन लोगों को हृदय परिवर्तन के लिए दी गयी ‘अनुग्रह-अवधि’ की समय-सीमा अब पूर्ण हुई, शेष की समय-सीमा अच्छे व्यवहार के कारण शेष है। भविष्य में भी ‘जन-विरोधी’ लोगों के लिए पार्टी में कोई स्थान नहीं होगा और पार्टी के मूल विचार की विरोधी गतिविधियाँ सदैव अक्षम्य मानी जाएंगी। जहां रहें, विश्वसनीय रहें।’
विधानसभा चुनाव से पहले की कार्यवाही
तीन विधायकों के निष्कासन के साथ ही समाजवादी पार्टी कह रही है कि पार्टी के मूल मूल्यों के खिलाफ जाने वाली कोई भी गतिविधि अस्वीकार्य मानी जाएगी। वैसे जानकारों का मानना है कि 2027 में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी समाजवादी पार्टी अपने समीकरणों को दुरुस्त करने में जुटी है। राज्यसभा चुनाव में ही ये विधायक बागी हो गए थे लेकिन उनके खिलाफ कार्यवाही अब की गई है। जानकार इसे पार्टी की रणनीति का हिस्सा बता रहे हैं।