गैरब्राह्मण होने पर कथावाचक का बाल मुंडवाने से अखिलेश यादव आक्रोशित, दी यह चेतावनी
गैरब्राह्मण होने के कारण इटावा में कथावाचक का सिर मुंडवाने, नाक रगड़वाने की घटना से सपा प्रमुख अखिलेश यादव बेहद आक्रोशित हैं। उन्होंने इसे पीडीए का अपमान बताते हुए बड़े आंदोलन की चेतावनी दी है। इसका वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस ने भी एक्शन लिया है।

इटावा में एक कथावाचक के गैरब्राह्मण होने पर दुर्व्यवहार करने और चोटी काटने की घटना से समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव आक्रोशित हो गए हैं। उन्होंने तीखे तेवर अपनाते हुए बड़े आंदोलन की चेतावनी दी है। उन्होंने सोमवार रात एक्स पर लिखा, इटावा के बकेवर इलाके के दान्दरपुर गांव में भागवत कथा के दौरान कथावाचक और उनके सहायकों की जाति पूछने पर पीडीए की एक जाति बताने पर, कुछ वर्चस्ववादी और प्रभुत्ववादी लोगों ने उनके साथ अभद्र व्यवहार करते हुए उनके बाल कटवाए, नाक रगड़वाई और इलाके की शुद्धि कराई।
अखिलेश ने कहा कि हमारा संविधान जातिगत भेदभाव की अनुमति नहीं देता है, ये व्यक्ति की गरिमा और प्रतिष्ठा से जीवन जीने के मौलिक अधिकार के विरुद्ध किया गया अपराध है। सभी आरोपियों की तत्काल गिरफ़्तारी हो और यथोचित धाराओं में मुक़दमा दर्ज़ किया जाए। अगर आगामी 3 दिनों में कड़ी कार्रवाई नही हुई तो हम ‘पीडीए के मान-सम्मान की रक्षा’ के एक बड़े आंदोलन का आह्वान कर देंगे। ‘पीडीए’ के मान से बढ़कर कुछ नहीं! उन्होंने इससे संबंधित एक वीडियो भी शेयर किया है।
क्या है पूरा मामला
इटावा के दांदरपुर गांव में कथा के लिए बुलाए गए भागवताचार्य की जाति पूछी गई। वह यादव निकला तो लोगों ने उसके साथ बर्बरता की। जबरन उसका सिर मुंडवा दिया गया। महिला के पैरों पर नाक रगड़वाई और धमका कर गांव से निकाल दिया। इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होते ही हड़कंप मच गया। सोमवार को सपा सांसद और विधायक पीड़ित को लेकर एसएसपी के पास पहुंचे तो मामले ने तूल पकड़ा। कप्तान के निर्देश पर दो नामजद समेत एक के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की गई। जांच के बाद पुलिस ने इन तीन के अलावा एक अन्य यानी कुल चार को गिरफ्तार कर लिया है।
21 से 27 जून तक गांव के मंदिर पर भागवत कथा का आयोजन था। आयोजन के मुख्य यजमान जय प्रकाश तिवारी हैं। भागवत कथा सुनाने के लिए मुकुट मणि निवासी जवाहरपुर इटावा, संत कुमार यादव निवासी अछल्दा, औरैया बुलाया गया था। 21 जून को कथा के पहले दिन निकली कलश यात्रा में सब सामान्य रहा। शाम को भोजन के वक्त गांव के लोगों ने विवाद शुरू कर दिया। भावताचार्यों से उनकी जाति पूछी। यादव बताने पर गैरब्राह्मण पाखंडी भागवताचार्य कहते हुए संत कुमार का सिर मुंडवाया।
मुकुटमणि को पीट कर एक महिला (कथा की मुख्य श्रोता जिसने भागवताचार्यों के पैर धोए थे) के पैरों पर सर रखवाया। नाक रगड़वाई। इसके बाद दोनों को पीट कर गांव से निकाल दिया गया। किसी ने इस घटना का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। पुलिस ने इस मामले में आशीष तिवारी, उत्तम अवस्थी, निक्की अवस्थी और अभय दुबे को गिरफ्तार कर लिया है।