जेपी इंफ्राटेक लिमिटेड और मेसर्स जयप्रकाश एसोसिएट्स लिमिटेड पर लगे मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों की जांच जारी है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, जेपी से जुड़ी कंपनियों ने फ्लैट खरीदारों से ली गई रकम को सिंगापुर, थाईलैंड समेत अन्य देशों में भेजा।
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने बताया कि उसने जेपी इन्फ्राटेक लिमिटेड (JIL),जयप्रकाश एसोसिएट्स लिमिटेड (जेएएल) और अन्य संस्थाओं के खिलाफ कथित होमबायर्स धोखाधड़ी मामले से जुड़ी मनी लॉन्ड्रिंग जांच के तहत की गई तलाशी के दौरान 1.70 करोड़ रुपये नकद और अचल संपत्ति से संबंधित दस्तावेज जब्त किए हैं।
नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (एनसीएलएटी) ने सुरक्षा समूह को जेपी विशटाउन में रुकी हुई परियोजनाओं का निर्माण शुरू करने की अनुमति दे दी है। इससे करीब 20 हजार से अधिक फ्लैट खरीदारों को राहत मिलेगी।
यमुना प्राधिकरण ने जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण करने वाली कंपनी सुरक्षा समूह के कुछ प्रमुख प्रस्तावों पर सहमति जताई है। अब इससे संबंधित प्रस्ताव आगामी कैबिनेट बैठक में रखा जाएगा।
दिवालिया हो चुकी जेपी इंफ्राटेक की परियोजनाओं में फंसे 22 हजार खरीदारों को फ्लैट मिलने की उम्मीद बढ़ गई है। जेपी ने नोएडा की एलएफडी में एक दर्जन से अधिक हाउसिंग प्रोजेक्ट लॉन्च किए थे।
Ghost town: 3 वर्षों से अधिक समय से अपने फ्लैटों के हैंडओवर का इंतजार कर रहे हैं, आशा की एक किरण उभरी है क्योंकि पूर्ववर्ती 'घोस्ट टाउन' में कम से कम 59 अधूरे टावरों पर काम शुरू हो गया है।
जेपी इंफ्राटेक का अधिग्रहण कर रही सुरक्षा रियल्टी लिमिटेड ने यमुना प्राधिकरण को अपना प्लान सौंप दिया है। प्राधिकरण को इस प्लान से होने वाले नफा-नुकसान का आकलन कैरी एंड ब्राउन कंपनी से कराया जा रहा है।
'सुरक्षा' कंपनी ने अपने प्रस्ताव में टोल वसूली का समय बढ़ाने, टोल शुल्क बढ़ाने, किसानों को दिया जाने वाला अतिरिक्त मुआवजा किस्तों में देने, करीब 79 एकड़ जमीन पर कब्जा देने की बात कही है।
घर खरीदने वाले इन पीड़ितों ने एनसीडीआरसी (नेशनल कंज्यूमर डिस्प्यूट्स रिड्रेसल कमीशन) से लेकर एनसीएलटी (नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल) और अंत में सुप्रीम कोर्ट तक हर संभव दरवाजे को खटखटाया, लेकिन...
जेपी ग्रुप की हाउसिंग परियोजना में फंसे 22 हजार से अधिक खरीदारों को जल्द राहत मिल सकती है। जेपी इंफ्राटेक को अधिग्रहण करने वाली सरकारी कंपनी ‘सुरक्षा’ के प्रस्ताव पर यीडा की बोर्ड बैठक में चर्चा हुई।