Starlink को मिला भारत में काम शुरू करने का लाइसेंस, इतनी हो सकती है प्लान और किट की कीमत
Elon Musk की सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस Starlink ने भारत में आधिकारिक तौर पर कामकाज शुरू करने के लिए लाइसेंस हासिल कर लिया है। खुद केंद्रीय संचार मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इसकी जानकारी दी है।

भारत में अब जल्द Starlink की सर्विसेस शुरू हो सकती है। ऐसा हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि Elon Musk की सैटेलाइट इंटरनेट सर्विस Starlink ने भारत में आधिकारिक तौर पर कामकाज शुरू करने के लिए लाइसेंस हासिल कर लिया है। खुद केंद्रीय संचार मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इसकी जानकारी दी है कि स्टारलिंक को आधिकारिक तौर पर भारत में काम करने का लाइसेंस दे दिया गया है। अप्रूवल मिलने का मतलब है कि स्टारलिंक अब प्रतिस्पर्धी भारतीय दूरसंचार बाजार में अपनी सर्विसेस प्रदान कर सकता है।
स्पेसएक्स की अध्यक्ष और सीओओ ग्वेने शॉटवेल के साथ अपनी मीटिंग की डिटेल शेयर करते हुए, सिंधिया ने एक्स पर पोस्ट किया: “भारत की कनेक्टिविटी के अगले मोर्चे पर स्पेसएक्स की अध्यक्ष और सीओओ सुश्री ग्वेने शॉटवेल के साथ एक उपयोगी बैठक हुई। हमने डिजिटल इंडिया की बढ़ती महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने और देशभर में हर नागरिक को सशक्त बनाने के लिए सैटेलाइन कम्युनिकेशन में सहयोग के अवसरों पर गहन चर्चा की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत की डिजिटल क्रांति के साथ, सैटेलाइट टेक्नोलॉजीज न केवल प्रासंगिक हैं, बल्कि वे परिवर्तनकारी भी हैं। शॉटवेल ने स्टारलिंक को दिए गए लाइसेंस की सराहना करते हुए इसे यात्रा की शानदार शुरुआत बताया।”
जियो और एयरटेल के साथ साझेदारी
मार्च की शुरुआत में, भारत की दो बड़ी टेलीकॉम कंपनियों- जियो और एयरटेल ने अपने ग्राहकों को स्टारलिंक इंटरनेट सर्विसएँ प्रदान करने के लिए स्पेसएक्स के साथ साझेदारी की घोषणा की। हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, ये दोनों टेल्को सामूहिक रूप से भारत के 70 प्रतिशत से अधिक बाजार हिस्सेदारी पर कब्जा करते हैं और स्पेसएक्स के साथ उनकी साझेदारी देश में स्टारलिंक के रोलआउट को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
इस डील में जियो और एयरटेल के रिटेल नेटवर्क के जरिए स्टारलिंक के उपकरण बेचना शामिल है, जबकि जियो कस्टमर सर्विस, इंस्टॉलेशन और एक्टिवेशन सहायता भी प्रदान करेगा। रिपोर्ट के अनुसार, यह पूरे भारत में बिजनसेस, हेल्थ केयर सेंटर्स और दूरदराज के इलाकों में हाई-स्पीड इंटरनेट प्रदान करने पर जोर देगा।
इस नए लाइसेंस के साथ, स्टारलिंक सैटेलाइट-बेस्ड इंटरनेट सर्विसेस देने के लिए भारत के दूरसंचार विभाग द्वारा स्वीकृत तीसरी इकाई बन गई है। अन्य दो यूटेलसैट वनवेब और जियो सैटेलाइट कम्युनिकेशंस हैं। इस बीच, अमेजन की कुइपर प्रोजेक्ट अंडर रिव्यू है, अभी भी दौड़ में शामिल होने के लिए आवश्यक नियामक मंजूरी का इंतजार कर रही है।
क्या है स्टारलिंक?
Starlink एक सैटेलाइट पर आधारिक इंटरनेट सर्विस है, जिसे स्पेसएक्स नाम की कंपनी ने बनाया है। यह सर्विस लो अर्थ ऑर्बिट में मौजूद हजारों छोटे सैटेलाइट्स के जरिए धरती पर इंटरनेट सिग्नल भेजती है। स्टारलिंक के सैटेलाइट धरती से लगभग 550 किमी ऊपर होते हैं। यह तकनीक लो लेटेंसी (कम समय में डेटा ट्रांसफर) और हाई स्पीड कनेक्टिविटी प्रदान करती है, जिससे इंटरनेट तेज और स्मूद चलता है। इसका सबसे बड़ा फायदा पहाड़ों, जंगलों और गांवों जैसे दूरदराज के इलाकों में मिलेगा, जहां आम इंटरनेट नहीं पहुंच पाता।
भारत में स्टारलिंक की कीमत
भारत में स्टारलिंक सर्विसेस की कीमत कितनी होगी, फिलहाल इस बारे में आधिकारिक तौर पर कोई जानकारी सामने नहीं आई है, लेकिन द इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट में दावा किया गया था कि स्टारलिंक भारत में प्रमोशनल दरों पर $10 (लगभग 840 रुपये) प्रति माह से कम कीमत पर अनलिमिटेड डेटा प्लान पेश कर सकता है। रिपोर्ट में इंडस्ट्री सोर्स का हवाला देते हुए कहा कि पर्याप्त स्पेक्ट्रम और लाइसेंसिंग लागतों के बावजूद, स्टारलिंक अपने यूजर बेस को तेजी से बढ़ाने के लिए लो एंट्री प्राइस अपना सकता है, जिसका लक्ष्य मध्यम से लंबी अवधि में 10 मिलियन ग्राहकों तक पहुंचना है।
हालांकि, भारत में स्टारलिंक को व्यापक रूप से अपनाने में कुछ बाधाएं आ सकती हैं, खास तौर पर हार्डवेयर लागत के मामले में। वैश्विक स्तर पर, स्टारलिंक के हार्डवेयर किट की कीमत $250 (लगभग 21,300 रुपये) से लेकर $380 (लगभग 32,400 रुपये) तक है। यह मौजूदा भारतीय होम ब्रॉडबैंड ऑफरिंग की तुलना में काफी ज्यादा है।
एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, भारत में स्टारलिंक हार्डवेयर किट, जिसमें सैटेलाइट डिश, राउटर और माउंटिंग ट्राइपॉड शामिल हैं, की कीमत लगभग 33,000 रुपये हो सकती है। यह भूटान और बांग्लादेश जैसे आस-पास के देशों में यूजर्स द्वारा भुगतान किए जाने वाले शुल्क के बराबर है। मंथली इंटरनेट शुल्क की बात करें तो स्टारलिंक इंडिया लगभग 3,000 रुपये प्रति माह के लिए अनलिमिटेड इंटरनेट दे सकता है। ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए, कंपनी एक महीने का फ्री ट्रायल भी दे सकता है।
ऐसी अफवाहें भी हैं कि स्टारलिंक इंडिया केवल 840 रुपये प्रति माह ($10 से कम) से शुरू होने वाला एक स्पेशल प्रमोशनल प्लान भी शुरू कर सकता है। हालांकि, यह साफ नहीं है कि यह कम लागत वाला प्लान पूरे देश में उपलब्ध होगा या कुछ राज्यों या गांवों तक सीमित होगा। ग्लोबल परफॉर्मेंस रिपोर्ट के आधार पर, यूजर अपनी लोकेशन और सैटेलाइन सिग्नल क्लैरिटी के आधार पर 25 एमबीपीएस से 220 एमबीपीएस के बीच की स्पीड की उम्मीद कर सकते हैं।
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