मौसम सुहाना होते ही कैमूर की वादियों की ओर रूख करेंगे पर्यटक
कैमूर की घाटियों में जंगली जानवर, झीलें और जलप्रपात पर्यटकों को रोमांचित करते हैं। बारिश के मौसम में यहाँ के पिकनिक स्पॉट गुलजार हो जाते हैं। करकटगढ़ जलप्रपात और दुर्गावती जलाशय जैसे स्थानों की...

पहाड़ की घाटियों, जंगली जानवर व सेल्फी प्लेस को देख रोमांचित हो जाता है मन यादगार बना देती हैं कैमूर की झीलें, जलप्रपात, डैम, मगरमच्छ घर, जंगल-पहाड़ (पेज चार की फ्लायर खबर जगह मिलने पर) भभुआ, कार्यालय संवाददाता। बारिश शुरू हो गई है। मौसम सुहाना होते ही पर्यटक कैमूर की वादियों की ओर रूख करना शुरू कर देंगे। पहाड़ की घाटियों, जंगली जानवर व सेल्फी प्लेस को देख आपका मन रोमांचित हो जाएगा। कैमूर की झीलें, जलप्रपात, डैम, मगरमच्छ घर और जंगल-पहाड़ से घिरे इलाके आपकी यात्रा को यादगार बना देंगे। कैमूर की वादियां आपका इंतजार कर रही हैं। जो एक बार यहां आया, वह बार-बार आना चाहता है।
कैमूर में करकटगढ़ जलप्रपात, तेल्हाड़कुंड जलप्रपात, जगदगहवां डैम, दुर्गावती जलाशय डैम के अलावा शुकुल मड़इया पहाड़ी, तूतुआइन डैम, मुसहरवा बाबा के साथ-साथ अधौरा क्षेत्र के लोहदी धरती माता जैसे पिकनिक स्पॉट हैं। झरने व सूखी पइन में वर्षा का पानी आ जाने से पिकनिक स्पॉट का दृश्य मनोरम होने लगा है, जहां गांव और शहर से नवयुवकों की टोली प्राकृतिक सौंदर्य से परिपूर्ण वादियों में पहुंचकर स्वादिष्ट व्यंजनों का चटकारे का लुत्फ उठाएंगे। हालांकि बरसात शुरू होते ही पिकनिक स्पॉट गुलजार होने लगते हैं। स्वर्ग से कम नहीं मानते प्रकृति प्रेमी तेल्हाड़ कुंड जलप्रपात को प्रकृति प्रेमी किसी स्वर्ग से कम नहीं मानते हैं। यहां की जैव विविधता, पंक्षी और जंगली जानवर, प्राकृतिक जलप्रपात पर्यटकों के सफर को जीवन भर यादगार रखने वाला बना देता है। कैमूर हिल्स और खूबसूरत जंगलों के बीच कुंड में 80 मीटर उंचे पहाड़ से पानी गिरता है। यहां तक पहुंचने के लिए कई पहाड़ी घाटी का चक्कर लगाना पड़ता है। लेकिन, मार्ग बहुत ही सुगम है। यह जलप्रपात दुर्गावती नदी के उद्गम के पास से थोड़ी दूर है। इसके चारों तरफ से हरा भरा दृश्य है। दुर्गम पहाड़ियों से घिरा हुआ है। इस झरने की खास बात यह है कि इसका पानी हमेशा शीतल रहता है। आपके मन को मोह लेंगे यह दृश्य दुर्गावती जलाशय परियोजन के आसपास प्रकृति की सुंदर वादियों, कलकल बहती नदी की धारा, हरे-भरे पेड़, पंक्षियों की चहचहाहट, रेत पर नंगे पांव चलना, चट्टान पर घूमना पर्यटकों को खूब भाएगा। जलाशय में उछाल मारती मछलियां, कछुए व अन्य जलीय जंतुओं का नजदीक से दीदार कर सैलानी आनंदित हो सकेंगे। इस जल प्लावन क्षेत्र में नौका विहार के साथ जंगल सफारी व कैम्पिंग की भी सुविधा मिल सकती है। यह खास है टूरिस्ट प्लेस कैमूर के जलप्रपातों में एक करकटगढ़ जलप्रपात है। इसे मगरमच्छ सरंक्षण रिजर्व के तौर पर भी जाना जाता है। इसे युवा सेल्फी प्वाइंट मानते हैं, जो शांत वातावरण देखने के लिहाज से बेहद खास है। सैलानी झील, जलप्रपात, पहाड़ व जंगल के मनोरम दृश्य व पार्क का दीदार करने के बाद अपनी थकान मिटाने के लिए इको पार्क में जा सकते हैं। पार्क में मखमली घास है। फूलों के पौधे व वृक्ष हैं। बैठने के लिए कुर्सीयान शेड, उडेन एसपेंशन आदि की सुविधा है। इको पार्क, लकड़ी की सस्पेंशन ब्रिज, झूला पुल, छोटे-छोटे तालाब, हरियाली मोह लेते हैं। पानी पीते ही लग जाती है तेज भूख जगदहवां डैम से आपकी जहां तक नजर जाए बस जल, हरियाली, पहाड़ और खूबसूरत प्राकृतिक नजारे। पंक्षियों की चहचाहट, हवा से हिलते पेड़ों के पत्तों की सरसराहट के बीच जब आप यहां भ्रमण करते है तो एक नैसर्गिक सुकून का अहसास होता है। यह डैम कैमूर पहाड़ी के गोद में बसा है। अपनी खूबसूरती और हरियाली से पर्यटकों को आकर्षित करने वाला यह डैम युवाओं के लिए खास पिकनिक स्पॉट है। यहां के जड़ी-बूटी मिश्रित पानी पीते ही आपका भोजन तुरंत पच जाता है और बार-बार भूख लगती है। फोटो- 21 जून भभुआ- 4 कैप्शन- अधौरा प्रखंड के तेल्हाड़ कुंड स्थित जलप्रपात के पास पिकनिक मनाते लोग (फाइल फोटो)।
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